
मलेरिया के लक्षण जानकर करिए इससे बचने के घरेलु उपाय
क्या हैं मलेरिया के लक्षण
- बार बार तेज बुखार चढ़ना
- सिर दर्द होना
- जी मिचलाना
- बार उल्टी आना
- सर्दी लगकर तेज बुखार चढ़ना
- बुखार उतरते समय पसीना आना
- चक्कर आना
- हाथों और पैरों में कपकपाहट
मलेरिया से बचने के घरेलु उपाय
- तुलसी के चार पत्ते, करंज की गिरी 3 ग्राम और कालीमिर्च – तीनों को पीसकर सुबह-शाम दूध में सेवन करें |
- नीबू में जरा-सा सेंधा नमक और जरा-सा कालीमिर्च का चूर्ण लगाकर गरम करके धीरे-धीरे चूसें| इससे बुखार की गरमी शान्त हो जाती है |
- तुलसी के पत्तों का रस एक चम्मच, चार कालीमिर्च का चूर्ण तथा थोड़ा सा शहद मिलाकर सेवन करें |
- तुलसी, नीम की कोंपले तथा नीबू का रस – तीनों को मिलाकर रोगी को देने से मलेरिया बुखार में काफी लाभ होता है |
- लाल मिर्च पानी में घोलकर गाढ़ी चटनी की तरह बना लें| फिर इस मिर्च की पोटली बनाकर स्त्री की बाईं तथा पुरुष की दाईं बांह (भुजा) में बांध दें| इससे मलेरिया का बुखार उतर जाएगा |
- 1 ग्राम फूली हुई फिटकिरी, 2 ग्राम मिश्री और 10 ग्राम चीनी-तीनों को मिलाकर दूध या पानी के साथ सेवन करें |
- चिरायता तथा संतरे का रस – दोनों 10-10 ग्राम लेकर रोगी को सुबह शाम पिलाएं |
- 10 ग्राम हरड़ का चूर्ण एक कप पानी में मिलाकर काढ़ा बनाएं| जब पानी आधा कप रह जाए तो उसमें जरा-सी शक्कर डालकर चार खुराक करें| इसे दिनभर में चार बार पिलाएं| मलेरिया सिर पर पैर रखकर भाग जाएगा |
- सादा खाने का नमक पिसा हुआ लेकर तवे पर इतना सेंके कि उसका रंग काला भूराहो जाये । ठण्डा होने पर शीशी में भर लें । मलेरिया, विषम ज्वर, एंकातरा – पारीतिजारी, चौथारी, चौथारी बुखारों की खास दवा है । ज्वर आने से पहले छ: ग्रामभुना नमक एक गिलास गर्म पानी में मिलाकर दें| इन दो खुराकों में ज्वर चला जायेगा ।
- जामुन के पेड़ की छाल 5 ग्राम लेकर पीस डालें| फिर उसमें जरा-सा गुड़ मिलाकर सेवन करें |
- एक चम्मच प्याज के रस में दो-तीन कलीमिर्चों का चूर्ण मिलाकर नित्य सेवन करें |
- नीम की थोड़ी-सी कोंपलों में चार-पांच कालीमिर्च और जरा-सा नमक मिलाकर चटनी बना लें| इसका सेवन सुबह-शाम करें |
- तुलसी के पत्ते और कालीमिर्च सुबह-शाम कुचलकर खाने से मलेरिया बुखार नहीं चढ़ता |
- मलेरिया बुखार चढ़ने के समय से पहले लहसुन का रस हाथ-पैर के नाखूनों पर लगा लें |
- अमरूद को भूमल में भूनकर खाने से मलेरिया का रोग चला जाता है |
- नारंगी के छिलकों को पानी में उबालकर केवल पानी पी जाएं |